Aye Mere Sher Abbas | Ali Mohammad Sultanpuri
रोके जैनब ने कहा आये मेरे शेर अब्बास
रोके जैनब ने कहा अय मेरे शेर अब्बास
छिन गई मेरी रिदा अय मेरे शेर अब्बास
==========
जब मेरे सर से रिदा छीन रहे थे आदा
ऐसा लगता था मुझे मेरा जरी आयेगा
अये बावफा, अये बावफा, अये बावफा, अये बावफा
तूने आया भैय्या....
==========
आग खेमों में लईनों ने लगा दी आकर
दुर्रे बरसाए सकीना में यही कह कह कर
कहाँ है अब तेरा चचा अये गमजदा, अये गमजदा
अब कहाँ है सक्का...
==========
सिम्र ने बाली सकीना को तमाचे मारे
और मेरे सामने मासूम के छीने बुंदे
अये बावफ़ा अये बावफ़ा अये बावफ़ा अये बावफ़ा
कुछ न बस मेरा चला...
==========
मेरे गाजी मेरे हाथों में बंधी जब रस्सी
सर झुका कर के बहोत देर तलक मै रोई
अये बावफा, अये बावफ़ा अये बायफा, अये बावफ़ा
रुख सुवे दरिया था....
==========
एक रस्सी में गला सब का बंधा था भाई
हाल उस वक्त सकीना का जुदा था भाई
अये बावफा, अये बावफ़ा अये बायफा, अये बावफ़ा
उसका दम घुटता था
==========
जब तेरा खाली अलम खून में डूबा आया
में उसी वक्त से ये जान गयी अये भैय्या
अये बावफ़ा, अये बावफ़ा, अये बावफ़ा, अये बावफ़ा
अब तो बस होगी जाफ़ा
==========
मेरे गय्यूर वफ़ादार मेरे शैदाई
रो रही थी मेरी गुरबत पे मेरी तनहाई
अये बावफा, अये बावफ़ा अये बायफा, अये बावफ़ा
हस रहे थे आदा
==========
उस घड़ी मेरे कलेजे से निकलता था धुआँ
जब लईन कहते थे अट्ठारह बरादर हैं कहां
अये बावफा, अये बावफ़ा अये बायफा, अये बावफ़ा
दिल बहोत रोता था।
==========
याद आया है बहोत घर से निकलना मेरा
तेरे परचम के तले शान से चलना मेरा
अये बावफा, अये बावफ़ा अये बायफा, अये बावफ़ा
जब खुला सर मेरा
==========
हमको जब शाम के बाज़ार में मारे पत्थर
और दहकते हुए अंगारे जो डाले हमपर
अये बावफा, अये बावफ़ा अये बायफा, अये बावफ़ा
तू बहोत याद आया
==========
ठोकरें खाती रही जैनब-ए-मुजतर वाएज
रोके कहती रही अब्बास की ख़्वाहर बाएज
अये बावफा, अये बावफ़ा अये बायफा, अये बावफ़ा
बस यही था नौहा
==========
इन सभी का नोहा इस वेबसाइट पर मिलेगा हिंदी लिरिक्स